Wednesday, February 24, 2010

लोरिक सेना का सफाया करने की मांग

मानवाधिकार के नाम पर लूट का आरोप
अम्बिकापुर ! मानव अधिकारों की समाज में सर्वमान्यता हेतु जारी नंगे पांव सत्याग्रह ने नवपदस्थ पुलिस महानिरीक्षक श्री पी।एन।तिवारी से सरगुजा के सीमावर्ती ईलाके में सक्रिय लोरिक सेना का सफाया करने की अपेक्षा जताई है। भाकपा माओवादी कुछ विचारधारा को लेकर हिंसा पर आमदा हैं, लेकिन लोरिक सेना के पास कोई विचारधारा नहीं है। यह सिर्फ लुटेरों का नेटवर्क है। कुछ पूर्व पुलिस मुखबिर, कुछ जेल के कैदी व कुछ तथाकथित राजनैतिक कार्र्र्यकत्ता इसमें शामिल हैं। जेल के अंदर से माओवादियों की तर्ज पर मोर्बाईल से लोगों को धमकियाँ दी जाती हैं। लोरिक सेना में शामिल लोगों के विरूद्व जिले के विभिन्न थानों में रिर्पोर्ट दर्ज है, लेकिन इनके विरूद्व कार्यवाही नहीं होने से पुलिस की विश्वसनीयता पर प्रश्चिन्ह लगा है। कुछ माह पूर्व लोरिक सेना के श्री मुनिलाल यादव का पुलिस- हिरासत से फरार हो जाना और अब जक ना पकड़ा जाना, पुलिस की अक्षमता को दर्शाता है।

नंगे पांव सत्याग्रह के संगठक श्री राजेश सिंह सिसौदिया, संगठन समिति सदस्य अन्ना नायडू, संयोजक संजय चौरसिया, व महासचिव नरेश बेक ने नव पदस्थ पुलिस महानिरीक्षक से लोरिक सेना का सफाया करके सरगुजा में शांति बहाल करने की मांग की है।

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