Wednesday, May 12, 2010

उडीसा में पुलिस ने 14 माओवादी पकडे

कोरापुट. 12 मई. उड़ीसा में माओवादियों के सफाए के लिए तैनात सुरक्षा बलों ने पिछले कुछ दिनों के दौरान चले अभियानों में कोरापुट जिले में नक्सलियों के कई प्रशिक्षण शिविरों को घेरे में ले लिया है और 14 माओवादियों को गिरफ्तार किया है। वहीं गजपति जिले के कतामा गांव में माओवादियों ने दो ग्रामरक्षकों की आज धारदार हथियार से गला रेतकर हत्या कर दी। पुलिस ने एक नक्सली शिविर ध्वस्त करने का भी दावा किया है। अर्धसैनिक बलों के जवान अब अन्य नक्सली शिविरों की ओर बढ़ रहे हैं। सुरक्षा बलों ने पडाेसी राज्य आंध्र प्रदेश और छत्तीसगढ़ की सीमा पर नाकेबंदी कर दी है ताकि माओवादी सीमा पार करके भाग न सके। सुरक्षा बलों ने 14 संदिग्ध माओवादियों को गिरफ्तार किया है और उनकी पहचान जानने के लिए पूछताछ जारी है। सूत्रों ने बताया कि जयपुर और कोरापुट में सीमा सुरक्षा बल के जवानों के रहने के लिए बनाए गए अस्थाई शिविर आज हटा लिए गए और हजारों जवानों को मलकानगिरि और कोरापुट के नक्सल प्रभावित क्षेत्रों में भेजा गया है। उधर, गजपति जिले के कतामा गांव में माओवादियों ने दो ग्रामरक्षकों की आज धारदार हथियार से गला रेतकर हत्या कर दी। पुलिस सूत्रों ने बताया कि घटनास्थल से मिले एक पर्चे के मुताबिक माओवादियों को संदेह था कि दोनों ग्रामरक्षक पुलिस के मुखबिर हैं। दोनों ग्रामरक्षकों की पहचान दीनबंधु मंत्री और सदानंद स्वलसिंह के रूप में की गई है। पुलिस ने बताया कि कल रात करीब एक बजे लगभग 50 सशस्त्र माओवादी दोनों ग्रामरक्षकों के घर में घुसकर उन्हें घसीटकर बाहर लाए और उनके हाथ बांध दिए। इसके बाद माओवादियों ने धारदार हथियार से दोनों ग्रामरक्षकों के गले काट दिए। माओवादियों ने गांव से भागने से पहले कुछ राउंड गोलियां भी चलाई और हाथ से लिखा चार पन्नों का एक पत्र छोड़ गए, जिसमें धमकी दी गई है कि पुलिस की मुखबिरी करने वालों का अंजाम ऐसा ही होगा।

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